Wednesday, August 6, 2025
spot_img
Homeअंतरराष्ट्रीयअमेरिका ने F-16 जेट दिए, चीन ने नेवल बेस बनाया, मलेशिया की...

अमेरिका ने F-16 जेट दिए, चीन ने नेवल बेस बनाया, मलेशिया की पहल और रुक गया 2 सुपरपॉवर का प्रॉक्सी वॉर?

आखिरकार दो देशों के बीच युद्धविराम हो ही गया। भले ही लड़ कंबोडिया और थाईलैंड रहे थे लेकिन  ये चीन और अमेरिका के बीच का प्रॉक्सी वार कहा जा रहा था।  कंबोडिया ने अपनी कमजोरी को मजबूती देने के लिए चीन का साथ लिया। वहीं पाकिस्तान ने कंबोडिया के सैनिकों को फाइट करने की ट्रेनिंग भी दी। थाईलैंड को अमेरिका बैक कर रहा था।  मलेशियाई प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम ने घोषणा की है कि थाईलैंड और कंबोडिया तत्काल और बिना शर्त युद्धविराम पर सहमत हो गए हैं। यह घोषणा क्षेत्र में तनाव कम करने और शांति बहाल करने के बढ़ते प्रयासों के बीच की गई है। आसियान क्षेत्रीय समूह के प्रमुख के रूप में वार्ता की अध्यक्षता करने वाले अनवर ने कहा कि दोनों पक्ष सामान्य स्थिति में लौटने के लिए कदम उठाने हेतु एक आम सहमति पर पहुँच गए हैं। कंबोडियाई प्रधानमंत्री हुन मानेट और थाईलैंड के कार्यवाहक प्रधानमंत्री फुमथम वेचायाचाई ने 28 जुलाई की मध्यरात्रि से तत्काल और बिना शर्त युद्धविराम पर सहमति व्यक्त की है, अनवर ने एक संयुक्त बयान पढ़ते हुए कहा। हुन मानेट और फुंटम ने बैठक के परिणामों की सराहना की और संक्षिप्त प्रेस कॉन्फ्रेंस के समापन पर हाथ मिलाया। 

इसे भी पढ़ें: Donald Trump के दखल से झुके थाईलैंड-कंबोडिया! मलेशिया में होगी शांति वार्ता

इससे पहले 27 जुलाई को, थाईलैंड और कंबोडिया ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की मध्यस्थता के बाद एक घातक सीमा विवाद को समाप्त करने के लिए बातचीत के लिए अपनी तत्परता का संकेत दिया था। रिपोर्टों के अनुसार, इस संघर्ष में कम से कम 33 लोग मारे गए और 1,68,000 से ज़्यादा लोग विस्थापित हुए। ट्रंप ने शनिवार को ट्रुथ सोशल पर पोस्ट किया कि उन्होंने थाईलैंड और कंबोडिया के नेताओं से बात की और सुझाव दिया कि अगर युद्धविराम जारी रहा तो वह किसी भी देश के साथ व्यापार समझौते पर आगे नहीं बढ़ेंगे। बाद में उन्होंने कहा कि दोनों पक्ष युद्धविराम पर बातचीत के लिए मिलने पर सहमत हुए हैं।

इसे भी पढ़ें: थाइलैंड-कंबोडिया में हो गया युद्धविराम, ट्रंप का ‘ये मैंने करवाया’ वाला बयान बस आने ही वाला होगा!

थाईलैंड लंबे समय से अमेरिका का सहयोगी रहा है। 1954 में सनीला समझौते से लेकर वियतनाम युद्ध में अमेरिकी विमानों को ई एयरबेस पर तैनात करने तक, दोनों देशों की सैन्य साझेदारी गहरी रही है। थाई सेना के पास सैकड़ों अमेरिकी टैंक, भारी तोपें और यूएस ब्लैक हॉक, कोबरा हेलिकॉप्टर जैसी क्षमताएं हैं। उधर, कंबोडिया का झुकाव पूरी तरह से चीन की ओर रहा है। चीन न केवल कंबोडिया को हथियारों की आपूर्ति कर रहा है। बल्कि रीम नेवल बेस जैसे नौसैनिक बेस भी विकसित कर रहा। जो भविष्य में चीन के एयरक्राफ्ट कैरियर को होस्ट कर सकते हैं। 
RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments