केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को कहा कि सीमा पार आतंकवाद में पाकिस्तान की संलिप्तता दुनिया के सामने उजागर हो गई है और कहा कि भारत ने इस महीने की शुरुआत में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान आतंकी संगठनों को मुंहतोड़ जवाब दिया। रुस्तमजी मेमोरियल लेक्चर में सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के अलंकरण समारोह में बोलते हुए शाह ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर हमारे प्रधानमंत्री की दृढ़ राजनीतिक इच्छाशक्ति, हमारी खुफिया एजेंसियों से सटीक जानकारी और सेना की मारक क्षमता का अद्भुत प्रदर्शन था। तीनों के एक साथ आने से ऑपरेशन सिंदूर का निर्माण हुआ।
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शाह ने कहा कि हमारा देश कई दशकों से पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद का सामना कर रहा है। पाकिस्तान ने कई वर्षों से कई बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया है, लेकिन उसे उचित जवाब नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि 2014 में नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बने, भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाली सरकार बनी और पहला बड़ा हमला उरी में हमारे सैनिकों पर हुआ, उन्हें जिंदा जलाने का दुस्साहस किया और हमने उरी के तुरंत बाद सर्जिकल स्ट्राइक करके पहली बार आतंकी ठिकानों में घुसकर आतंकियों को मुंहतोड़ जवाब देने का काम किया। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि पाकिस्तान दुनिया के सामने बेनकाब हो गया है। शाह ने कहा कि बीएसएफ ने गोली का जवाब गोले से दिया।
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अमित शाह ने कहा कि पहलगाम में पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवादियों द्वारा निर्दोष लोगों को उनके परिवारों के सामने उनका धर्म पूछकर मार दिया गया…ऑपरेशन सिंदूर उस हमले का जवाब है और आज दुनिया भारतीय सशस्त्र बलों की बहादुरी की प्रशंसा कर रही है। उन्होंने कहा कि पहलगाम आतंकी हमले के बाद 8 मई को ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया गया था और ऑपरेशन के कुछ ही मिनटों के भीतर हमने नौ आतंकी ठिकानों को नष्ट कर दिया, जिनमें से दो मुख्यालय थे। हमने पाकिस्तानी सेना के ठिकानों, एयरबेसों को नष्ट नहीं किया। हमने केवल उन लोगों को दंडित किया जिन्होंने भारतीय धरती पर पाप किए थे।