नोएडा में एक ग्राहक के पचास लाख रुपये के गहने गबन करने के मामले में भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की प्रबंधक और मुख्य प्रबंधक के खिलाफ फेज-दो थाने में मामला दर्ज हुआ है। पुलिस ने यह जानकारी दी।
आरोप है कि दोनों ऋण की राशि जमा करने के बावजूद गहने वापस नहीं कर रहे थे।
फेज-2 के थाना प्रभारी निरीक्षक विंध्याचल तिवारी ने बताया कि सेक्टर-92 निवासी विवेक पुष्कल ने थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है कि उन्होंने अक्टूबर 2024 में सेक्टर 82 स्थित एसबीआई बैंक की शाखा में ‘गोल्ड लोन’ के लिए आवेदन किया था।
पीड़ित के अनुसार उन्होंने ऋण के एवज में 50 लाख 64 हजार 300 रुपये मूल्य के गहने गिरवी रखे थे। इसके बदले में उन्हें 36 लाख रुपये का ऋण दिया गया। आरोप है कि ऋण देने के कुछ दिनों बाद ही उनसे रकम वापस करने के लिए कहा गया।
बैंक अधिकारियों ने पहले कर्ज के स्थान पर उतनी ही रकम का दूसरा ऋण तुरंत दिलाने का वादा किया। विश्वास में आकर उन्होंने पहले ऋण का सारा भुगतान कर दिया और उतनी ही रकम के दूसरे ऋण के लिए आवेदन किया।
पीड़ित ने बताया कि ऋण की राशि जमा करने के लिए उनके पास उस समय रकम नहीं थी, ऐसे में उन्होंने सूद पर किसी से धन लेकर बैंक के कर्ज का भुगतान किया।
पुष्कल ने बताया कि भुगतान करने के बाद जब उन्होंने दोबारा ऋण जारी करने के लिए कहा तो बैंक पदाधिकारियों ने कुछ दिन का समय मांगा, लेकिन ऋण जारी नहीं होने पर जब शिकायतकर्ता ने प्रबंधक और मुख्य प्रबंधक से अपने गिरवी रखे गहने वापस करने को कहा तो बैंक की अधिकारी टालमटोल करने लगीं।
इसके बाद, पुष्कल ने शाखा प्रबंधक रविंद्र कौर और मुख्य प्रबंधक प्रीति रावत के खिलाफ मामला दर्ज कराया।
थाना प्रभारी ने बताया कि घटना की रिपोर्ट दर्ज कर पुलिस मामले की जांच कर रही है।