Monday, October 20, 2025
spot_img
Homeअंतरराष्ट्रीय5 मार्च को नेपाल में होगा अगला संसदीय चुनाव, राष्ट्रपति कार्यालय ने...

5 मार्च को नेपाल में होगा अगला संसदीय चुनाव, राष्ट्रपति कार्यालय ने दी जानकारी

नेपाल में अगले संसदीय चुनाव 5 मार्च को होंगे, राष्ट्रपति रामचंद्र पौडेल के कार्यालय ने घोषणा की है। यह घोषणा एक सप्ताह तक चले हिंसक विरोध प्रदर्शनों के बाद की गई है, जिसके कारण केपी. शर्मा ओली को इस्तीफा देना पड़ा और सुशीला कार्की देश की पहली महिला प्रधानमंत्री बनीं। राष्ट्रपति पौडेल ने शुक्रवार को नवनियुक्त प्रधानमंत्री की सिफारिश पर प्रतिनिधि सभा को भंग करते हुए कहा कि अगला संसदीय चुनाव 5 मार्च को होगा। पूर्व मुख्य न्यायाधीश कार्की (73) ने देश की पहली महिला प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली। इसके साथ ही, सोशल मीडिया पर प्रतिबंध और कथित भ्रष्टाचार के खिलाफ व्यापक सरकार विरोधी प्रदर्शनों के बाद इस सप्ताह ओली के अचानक इस्तीफे के बाद कई दिनों से चली आ रही राजनीतिक अनिश्चितता का अंत हो गया। विरोध प्रदर्शनों के दौरान पुलिस कार्रवाई में कम से कम 19 लोगों की मौत के लिए उनके इस्तीफे की मांग करते हुए सैकड़ों प्रदर्शनकारियों के उनके कार्यालय में घुसने के तुरंत बाद ओली ने पद छोड़ दिया। 

इसे भी पढ़ें: ममता ने सुशीला कार्की को नेपाल के प्रधानमंत्री पद की शपथ लेने पर बधाई दी

प्रधानमंत्री अपने शपथ ग्रहण समारोह के दो दिन बाद रविवार को एक छोटा मंत्रिमंडल गठित करेंगी, क्योंकि शनिवार को कार्यालय बंद रहेंगे। कार्की के पास गृह, विदेश और रक्षा सहित लगभग दो दर्जन मंत्रालय होंगे। राष्ट्रपति कार्यालय के सूत्रों ने बताया कि प्रधानमंत्री रविवार को पदभार ग्रहण करने के बाद कुछ मंत्रियों को शामिल करते हुए एक मंत्रिपरिषद का गठन करेंगी। सरकारी सूत्रों के अनुसार, दो दिवसीय आंदोलन के दौरान सिंह दरबार सचिवालय स्थित प्रधानमंत्री कार्यालय में आग लगा दी गई थी, इसलिए सिंह दरबार परिसर में गृह मंत्रालय के लिए नवनिर्मित भवन को प्रधानमंत्री कार्यालय के लिए तैयार किया जा रहा है। प्रधानमंत्री कार्यालय को वहाँ स्थानांतरित करने के लिए इमारत के आस-पास के इलाकों से राख हटाने और सफाई का काम चल रहा है।

इसे भी पढ़ें: Sushila Karki ने संभाली Nepal की कमान तो PM Narendra Modi ने दे दिया बड़ा बयान, समझिये मायने

इस बीच, प्रधानमंत्री कार्की ने शनिवार को काठमांडू के बानेश्वर इलाके में स्थित सिविल अस्पताल का दौरा किया, जहाँ आंदोलन के दौरान घायल हुए दर्जनों लोगों का इलाज चल रहा है। नेपाल के प्रमुख राजनीतिक दलों और शीर्ष वकीलों के निकाय ने संसद को भंग करने के राष्ट्रपति के फैसले की कड़ी आलोचना की है और इस कदम को असंवैधानिक, मनमाना और लोकतंत्र के लिए एक गंभीर झटका बताया है। भंग प्रतिनिधि सभा के मुख्य सचेतकों ने संसद को भंग करने का विरोध करते हुए एक संयुक्त बयान जारी किया है।
RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments