संयुक्त राष्ट्र महासभा में बैठक का आयोजन और इस आयोजन से इतर भारत और अमेरिका के बीच बढ़ते तनाव के बीच हुई दोनों देशों के विदेश मंत्रियों की मुलाकात बता रही है कि भारत और अमेरिका के संबंध किस दिशा में जाएंगे। जिस तरह से अमेरिका बार बार एक के बाद एक भारत के खिलाफ फैसले ले रहा है। वहीं दूसरी तरफ भारत के साथ संबंधों को लेकर लगातार बयान दे रहा है। अमेरिका की कथनी और करनी में जमीन व आसमान का अंतर है। एक तरफ भारत के साथ दोस्ती की दुहाई अमेरिका दे रहा है। वहीं दूसरी तरफ भारत के ही खिलाफ अमेरिका जमकर फैसले ले रहा है। अब भारत और अमेरिका के बीच बढ़ते तनाव के बीच अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रूबियो और भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर एक दूसरे से मिले।
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विदेश मंत्री एस जयशंकर ने न्यूयॉर्क में अमेरिका के विदेश मंत्री मार्को रुबियो से मुलाकात की। दोनों नेताओं ने द्विपक्षीय रिश्तों और मौजूदा अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर बात की। यह मुलाकात संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) के SOवें सत्र के दौरान होटल में हुई। अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के भारत पर 50% टैरिफ लगाने के बाद दोनों नेताओं की यह पहली मीटिंग थी। जयशंकर रविवार को न्यू यॉर्क पहुंचे। वह यूएनजीए सत्र के दौरान कई द्विपक्षीय और बहुपक्षीय बैठकों में हिस्सा लेंगे और 27 सितंबर को महासभा से भारत का राष्ट्रीय संबोधन देंगे।
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जयशंकर ने सोशल मीडिया पर लिखा,’न्यू यॉर्क में आज सुबह मार्को रुबियो से मिलकर अच्छा लगा। हमारी बातचीत में कई अहम द्विपक्षीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दे शामिल रहे। हमने इस बात पर सहमति जताई कि हमें प्राथमिक क्षेत्रों में प्रगति के लिए लगातार जुड़ाव बनाए रखना होगा। हम संपर्क में रहेंगे। रूबियो ने भारत अमेरिका साझेदारी को क्रिटिकल इंपोर्टेंश बताया। रक्षा, ऊर्जा, व्यापार, दवाईयों और दुर्लभ खनिजों जैसे क्षेत्रों में सहयोग को और मजबूत करने का वादा किया। रूबियो ने कहा कि भारत अमेरिका के लिए अहम स्थान रखता है। साथ ही उन्होंने इंडो पैसेफिक और क्वाड साझेदारी में मिलकर काम करने पर भी जोर दिया।