अमेरिकी प्रशासन एक नई इमिग्रेशन नीति बनाने पर काम कर रहा है। डिपार्टमेंट ऑफ होमलैंड सिक्योरिटी के अंदरूनी दस्तावेजों के अनुसार, यह नई पॉलिसी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मौजूदा ट्रैवल बैन के तहत आने वाले देशों के नागरिकों के लिए ग्रीन कार्ड और अन्य इमिग्रेशन लाभों को पाना बेहद मुश्किल बना सकती है।
नई पॉलिसी में क्या होगा बदलाव?
नई ड्राफ्ट इमिग्रेशन पॉलिसी के तहत, यूएस सिटिजनशिप एंड इमिग्रेशन सर्विसेज (USCIS) को निर्देश दिया जाएगा कि ट्रैवल बैन से जुड़े ‘देश-विशिष्ट कारकों’ को इमिग्रेशन आवेदनों की जांच करते समय बहुत बड़ा नकारात्मक कारक माना जाए। इस बदलाव का सीधा असर ग्रीन कार्ड, शरण (Asylum), पैरोल और कुछ अन्य लाभों के आवेदनों पर पड़ेगा, हालांकि यह नागरिकता के आवेदनों पर लागू नहीं होगा।
USCIS के एक पूर्व वरिष्ठ अधिकारी डग रैंड ने इस कदम को ‘एक बड़ा बदलाव’ बताते हुए इसे कानूनी इमिग्रेशन पर ट्रम्प प्रशासन के हमले का एक और उदाहरण बताया है।
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ट्रैवल बैन लिस्ट में कौन से देश शामिल हैं?
जून में जारी ट्रैवल बैन लिस्ट में ज्यादातर अफ्रीका और मिडिल ईस्ट के 12 देशों के नागरिकों का अमेरिका में आना प्रतिबंधित है। इनमें अफगानिस्तान, ईरान, सोमालिया, सूडान, यमन जैसे देश शामिल हैं। अन्य सात देशों (जैसे क्यूबा और वेनेजुएला) पर भी कुछ पाबंदियां हैं।
आलोचकों का कहना है कि यह नई पॉलिसी लोगों को उनकी अपनी सरकारों की कमियों के लिए गलत तरीके से सजा देगी। पूर्व USCIS एनालिस्ट सारा पियर्स ने कहा कि इस नीति से इनकार के मामले बढ़ेंगे, और यह उन लोगों पर भी लागू होगी जो पहले से अमेरिका में हैं, जिससे यह कानूनी तौर पर ज्यादा कमजोर हो जाती है।

