ऐतिहासिक रूप से आयोजित किए जा रहे महाकुंभ के दौरान संगम के तट पर बुधवार की सुबह भगदड़ मची है। इस घटना के बाद विपक्ष ने योगी सरकार पर जमकर निशाना साधा है। महाकुंभ के दौरान भगदड़ के बाद विपक्ष ने इसके आयोजन व प्रबंधन को लेकर गंभीर चिंता व्यक्त की है।
इसी बीच कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि योगी आदित्यनाथ प्रबंधन और कुप्रबंधन से ज़्यादा आत्मप्रचार पर ध्यान दे रही है। उन्होंने कहा कि अव्यवस्था और प्रशासन द्वारा ध्याम कम दिए जाने के कारण ऐसा हुआ है। वीआईपी मूवमेंट पर अधिक ध्यान देने के कारण ये हादसा हुआ है। महाकुंभ पूरा होने में काफी समय शेष है और अभी कई शाही स्नान बाकी है। ऐसे में सरकार को अपनी व्यवस्था में सुधार करना चाहिए। महाकुंभ में ऐसी घटना दोबारा ना हो इसका ध्यान रखना चाहिए। वीआईपी कल्चर पर रोक लगाना जरुरी है, ताकि आम जनता की जरुरतों को पूरा करने पर ध्यान जा सके।
राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी महाकुंभ पर हजारों करोड़ रुपये खर्च करने के बाद आधे अधूरे इंतजाम करने पर सवाल उठाया है। आधे अधूरे इंतजाम, वीआईपी मूवमेंट, असल प्रबंधन से अधिक आत्मप्रचार करने की जगह जरुरतों को पूरा करना चाहिए। हजारों करोड़ रुपये खर्च करने के बाद ऐसा कुप्रबंधन निंदनीय है। कुंभ के आयोजन के दौरान श्रद्धालुओं के आवास, भोजन, प्राथमिक चिकित्सा और आवागमन की व्यवस्था का विस्तार होना चाहिए। वीआईपी कल्चर और वीआईपी लोगों के आवागमन पर रोक लगनी चाहिए।
सरकार पर बरसे अखिलेश यादव
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भगदड़ के बाद कहा कि विश्व स्तरीय व्यवस्था का झूठा प्रचार राज्य सरकार कर रही थी। उन्होंने कहा कि विश्व स्तरीय व्यवस्था के दावों के पीछे की सच्चाई सामने आ गई है। जिन लोगों ने विश्व स्तरीय व्यवस्था का दावा किया था इस हादसे की जिम्मेदारी उन्हें लेनी चाहिए। इन लोगों को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार को महाकुंभ का प्रबंधन भारतीय सेना को सौंपना चाहिए। ऐसे में संत समुदाय और श्रद्धालुओं में व्यवस्था के प्रति विश्वास दोबारा पैदा हो सके।